माँ शारदा के श्री चरणों में नमन
रश्मिरथी पटल
काटकर वनवास अयोध्या लौट आए श्री राम जी
सज गई पूरी अयोध्या जैसे हो दुल्हन कोई
थे नगरवासी अति उत्सुक सभी
देखने को राजतिलक श्री अयोध्यानाथ की
ऋषि मुनि करने लगे मंगलगान
सिंहासनासीन हुए सिया सहित श्री भगवान
सरयू के पावन जल से भगवान् का अभिषेक किया
मंत्रोचारण सह राजाराम का राजतिलक किया
बजने लगे तासे ढोल,नाच गान शुरू हुआ
हर्षित नर नारी सब तीन लोक धन्य हुआ
मनुज ऋषि सुर नाग गंदर्भ
प्रसन्न हुए जीव जंतु सर्व
सब नाचै गावै खूब अथक
अद्भुत अकल्पनीय था राजतिलक
राजतिलक की भव्यता का कर ना सके कोई गुणगान
करना शब्दो मे वर्णित नहीं है आसान
धन्यवाद
सत्येंद्र पाण्डेय ‘शिल्प’
गोण्डा उत्तरप्रदेश