‘रक्तदान’ से बढ़कर संसार में कोई भी दान नहीं है।ऐसा ही है एक और महान दान ‘अंगदान’।
जिसने भी यह महान दान किए समझिए उसने सबसे अधिक पुण्य का कार्य सम्पन्न कर अपना जन्म सफल कर लिया। अपने जीवन के साथ साथ और बाद भी दूसरों को नया ‘जीवन- दान’ दिया है। जीवन देने वालों में ईश्वर के बाद उसी का नाम आता है।मेरे विचार से मां का नाम भी उससे पीछे रह जाता है क्योंकि ग्रुप न मिलने या आयु अधिक होने के कारण इच्छुक होते हुए वह अपनी ममता का कुछ नहीं कर सकती। ऐसा महान दान करने वाला आवश्यक नहीं कि व्यक्ति विशेष का रक्त संबंधी भी हो। उसके अंदर तो बस ऐसे महान कार्य के लिए उत्कट अभिलाषा और भावना होनी चाहिए। 
• ऐ मनुज! करो रक्तदान, जो है महादान,
जिसकी नहीं कोई तुलना न ही आन।
टूटते जीवन को नवजीवन का उपहार,
ऐसे दानी का आभार करना है नहीं आसान। 
आशा-तृष्णा कभी नहीं सताते,
उपजते जिसके अंतः में भाव अनोखे,
रक्त की हर एक बूंद है तुम्हारी। पर हर जनजीवन को देना हैं संदेश,
 रक्तदान है महादान,इससे करो जग का कल्याण,
परम पुण्य के भागी बनो  देकर किसी को जीवनदान। 
•पहचाने दर्द जो औरों का वही तो है सच्चा इंसान,
कोई छोटा-मोटा काम नहीं, ये दान तो है बहुत महान।
करके यह मानवता का दान नाम शीर्ष पर ले जाओ,
फिर खून का रिश्ता जुड़ जाएगा, 
किया जो तुमने रक्तदान। 
•नेकी कभी न वृथा हुई है, कर्मफल सदा ही मिलते हैं, 
बच जाए जो कोई इंसान, चेहरे कई-कई खिलते हैं। 
इक नन्हीं सी कोशिश करके, जीवन का उफान भरो,
मौतासन्न को जीवन देकर नए संबंध होगें ऐलान। 
   अंततः मेरी तो यही राय है कि
रक्तदान करना किसी पुण्य से कम नहीं होता है। जब आप किसी अंजान को अपना रक्त दान करते हैं तो वह इंसान पूरे दिल से आपके लिए दुआ करता है। और रक्त दान करने से आपके शरीर में कमजोरी नहीं आती है, बल्कि 24 घंटे के अंदर ही आपके शरीर में नया खून बनता है। बस आपको थोड़ा अपने खानपान पर ध्यान देना होता है। यानि की रक्तदान करने से आप अपना भला कर सकते हैं और अन्य किसी जरुरत मंद इंसान की जिंदगी तो बचा ही सकते हैं,मेरी मानिए यदि आप सक्षम हैं तो रक्तदान जरूर कीजिए। एक प्रकार से यह आपको प्रभु का सौंपा हुआ परम पुण्य का कार्य है।
धन्यवाद!
राम राम जय श्रीराम!
लेखिका – सुषमा श्रीवास्तव, मौलिक विचार, सर्वाधिकार सुरक्षित, रुद्रपुर, उत्तराखंड। 
Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *