आंखों में समंदर छुपाये बैठे हैं,
लगता है, पत्थरों से दिल लगाए बैठे हैं ।
आँखों में समंदर छुपाये बैठे हैं,
लगता है, पत्थरों से दिल लगाए बैठे हैं!
क्या बात है जनाब! इश्क़ के दरिया में
खुद को डुबाये बैठे हैं।
गौरी तिवारी, भागलपुर बिहार
आंखों में समंदर छुपाये बैठे हैं,
लगता है, पत्थरों से दिल लगाए बैठे हैं ।
आँखों में समंदर छुपाये बैठे हैं,
लगता है, पत्थरों से दिल लगाए बैठे हैं!
क्या बात है जनाब! इश्क़ के दरिया में
खुद को डुबाये बैठे हैं।
गौरी तिवारी, भागलपुर बिहार
I am student as well as a writer